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समर्थन जुटाने में जुटा रूस

२९ अगस्त २००८

शंघाई सहयोग संगठन शिखर बैठक के साझा बयान में कॉकस में रूस की कोशिशों को सराहा तो गया है. लेकिन किसी देश की क्षेत्रीय अखंडता के सिद्धांतों का भी समर्थन किया गया है. उधर, चीन भी खुलकर रूस का साथ देने में हिचकिचा रहा है.

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छह देश हैं शंघाई सहयोग संगठन के सदस्य

राजनयिक मोर्चे पर जहां रूस अलग-थलग पड़ता जा रहा है, वहीं ताजिकस्तान की राजधानी दुशांबे में शंघाई सहयोग संगठन की शिखर बैठक में रूसी रूख के मुताबिक साझा बयान जारी किया गया है. चीन, रूस, कजाकिस्तान, किर्गिस्तान, ताजिस्तनान और उज्बेकिस्तान छह देशों के इस संगठन ने साझा बयान जारी करके कॉकस में शांति और सहयोग में मदद देने के लिए रूस की भूमिका को सराहा है. लेकिन साथ ही दक्षिणी ओसेतिया में पिछले दिनों पैदा तनाव पर भी गंभीर चिंता जताई गई है और बातचीत के जरिए संकट के समाधान पर जोर दिया है.

Pressekonferenz Medwedew stoppt Militäraktionen in Georgien
मेद्वेदेव ने साझा बयान को बताया रूस के हक मेंतस्वीर: AP

वैसे तो इस बयान में एक हद तक क्षेत्रीय अखंडता के सिद्धांतों का भी समर्थन किया गया है, लेकिन रूस इसे अपने पक्ष में बता रहा है. रूसी राष्ट्रपति दिमित्री मेद्वेदेव ने कहा, 'इन मुश्किल हालात में आगे भी हम जिम्मेदारी भरी नीतियों पर चलते रहेंगे. शांति कायम करने के लिए रूस की कोशिशों को सराहे जाने पर हम शुक्रगुजार हैं. हमें विश्वास है कि शंघाई सहयोग संगठन के सदस्यों ने जो राय जाहिर की है, अंतरराष्ट्रीय जगत पर उस पर ध्यान देगा. उम्मीद है कि यह बयान उन देशों के लिए साफ संकेत हैं जो काले को सफेद करने और आक्रामकता को सही ठहराने की कोशिशों में लगे हैं. ' खासबात यह है कि रूस का भरोसेमंद साथी समझे जाने वाले चीन ने इस साझा बयान पर हस्ताक्षर तो किए हैं, लेकिन चीनी विदेश मंत्रालय का कहना है कि अलगाववादी जॉर्जियाई प्रांतों को अलग देश के तौर मान्यता दिए जाने से वह चिंतित हैं.

इस बीच यूरोपीय संघ जहां रूस के प्रतिबंध लगाने की सोचने लगा है. वहीं रूसी प्रधानमंत्री व्लादिमीर पुतिन ने अमेरिकी टीवी चैनल सीएनएन के साथ इंटरव्यू में आशंका जताई है कि यह पूरा विवाद अमेरिका ने खड़ा किया है और हो सकता है राष्ट्रपति चुनाव में फायदे के लिए यह सब किया गया है. अमेरिकी ने पुतिन के बयान को कोरा झूठकर कहकर खारिज किया है. अमेरिकी विदेश मंत्रालय के उप प्रवक्ता रॉबर्ट वुड ने कहा, 'ये बयान कि विवाद पैदा करने में अमेरिका का हाथ है, पूरी तरह हास्यस्पद है. हमें देखना होगा कि रूस ने क्या किया है. रूस अब भी जॉर्जिया के इलाकों पर कब्जा जमाए बैठा है. यह साफ तौर पर युद्धविराम समझौते का उल्लंघन है. '

Wladimir Putin in Palazzo Chigi mit Thumbnail
पुतिन ने कहा, अमेरिका हो सकता है विवाद के पीछेतस्वीर: AP

अमेरिका ने तो यहां तक कहा है कि वह रूस के साथ असैनिक परमाणु सहयोग के समझौते को खत्म करने पर भी विचार कर रहा है.