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ना नुकुर के साथ नाटो का रास्ता खोलेगा पाकिस्तान

१७ मार्च २०१२

पाकिस्तान ने कहा दिया है कि वो अमेरिका के साथ अपने रिश्ते के लिए नई शर्तें गढ़ेगा. नाटो सैनिकों के सीमा पार से हुए हमले में 24 पाकिस्तानी सैनिकों की मौत के करीब पांच महीने बाद अगले हफ्ते होगी दोनों देशों की पहली बात.

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तस्वीर: AP

रिश्ते की नई शर्तों में अमेरिकी नेतृत्व वाली नाटो की सेना के लिए अफगानिस्ताम में रसद पहुंचाने के रास्ते का दोबारा खोलना भी शामिल होने की उम्मीद है. 26 नवंबर से सप्लाई का यह रास्ता बंद है. रास्ता तो शायद खुल जाएगा लेकिन अब उसके लिए कुछ नए प्रतिबंध और कायदे लागू किए जाएंगे. पाकिस्तान की विपक्षी पार्टी के सांसद अयाज आमिर ने समाचार एजेंसी रॉयटर्स से बातचीत में कहा, "मोटे तौर पर सभी पार्टियां इस पर रजामंद हैं. मुझे नहीं लगता कि कोई भी नाटो की सप्लाई के रास्ते को हमेशा के लिए बंद करने के पक्ष में है. इसके लिए रास्ते बनाए जाएंगे, कुछ नियम होंगे और सेना की इसमें भूमिका बढ़ेगी."

पाकिस्तान की राष्ट्रीय सुरक्षा समिति ने इस बारे में कुछ निर्देश दिए हैं और माना जा रहा है कि जब उन्हें इस हफ्ते अंतिम रूप से जारी किया जाएगा तब संसद उसे स्वीकार कर लेगी. कमेटी ने पहले ही बता दिया है कि वो कई महीनों से नए नियम कायदों पर माथापच्ची कर रही थी और सेना ने भी इसमें बड़ी भूमिका निभाई है.

पाकिस्तान के राष्ट्रपति आसिफ अली जरदारी ने शनिवार को संसद के संयुक्त सत्र को संबोधित करते हुए दोनों देशों के रिश्तों पर भी कुछ बातें कही. जरदारी ने कहा, "पाकिस्तान और अमेरिका का रिश्ता बहुआयामी और अहम है. हम अमेरिका के साथ आपसी हितों और सम्मान के आधार पर सार्थक रिश्ता बनाना चाहते हैं. हम अमेरिका के साथ रिश्तों को बनाए रखने के लिए आपके दिशा निर्देशों का इंतजार कर रहे हैं." राष्ट्रपति जरदारी के संसद में भाषण के दौरान खूब हंगामा हुआ. विपक्षी सांसद विरोध जताते हुए भाषण के बीच में ही बाहर चले गए.

Nato Beschuss Pakistan
तस्वीर: picture-alliance/dpa

जरदारी ने पांचवीं बार संसद को संबोधित किया है. सैन्य तख्ता पलट से भरे इतिहास वाले मुल्क में वो पहले ऐसे गैरसैनिक राष्ट्रपति हैं जिन्हें इतनी बार संसद को संबोधित करने का मौका मिला. पाकिस्तान की सरकार पर प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष रूप से हमेशा सेना का ही दबदबा रहा है. प्रमुख रूप से रक्षा और विदेश मामलों में उसी की चलती है और अमेरिका के साथ रिश्तें की परिभाषा तो हमेशा उसी ने गढ़े हैं.

दोनों देशों के बीच रिश्तों में पिछले साल नवंबर में नाटो हमले के बाद भारी तनाव आ गया. पाकिस्तान ने अफगानिस्तान में नाटो के लिए सप्लाई का रास्ता बंद कर दिया और अमेरिका से माफी मांगने को कहा. अमेरिका ने सैनिकों की मौत पर दुख तो जताया और आरोपों को अपने ऊपर भी लिया लेकिन माफी मांगने से इनकार कर दिया.

जरदारी पांच साल का कार्यकाल पूरा करने वाले पहले गैरसैनिक राष्ट्रपति बन सकते हैं. जरदारी ने कई राजनीतिक उठापटक और कोर्ट से बहस मुबाहिसों के साथ ही सेना की नाराजगी कै दौरान भी किसी तरह अपनी कुर्सी बचाए रखी है. संसद में बहुमत उनकी पार्टी के पास है और ऐसे में उनका ज्यादा विरोध होने के आसार कम ही हैं.

रिपोर्टः रॉयटर्स/एन रंजन

संपादनः ए जमाल

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