बलात्कार रोकने में असफल भारत
३ अगस्त २०१६निर्भया कांड के वक्त जागा देश फिर अपनी यौन कुंठाओं की जकड़ में है. कमेटी बना दी, कानून बदल दिया, लेकिन सोच नहीं बदली. दिल्ली में नाबालिगों से बलात्कार के 450 मामले, बुलंदशहर और बरेली में हुई गैंगरेप की झकझोरने वाली वारदातें, इसकी गवाही भी दे रही हैं. हर चीज पर ट्वीट पर करने वाले प्रधानमंत्री की मनोरोगी बनते समाज का इलाज करने में कोई दिलचस्पी नहीं दिखती. राज्य के मुख्यमंत्रियों के लिए यह अपराध की मामूली घटनाएं होती हैं.
बरेली में एक स्कूल टीचर से हुए सामूहिक बलात्कार के बाद पता चल रहा है कि वहां लड़कियां किस हालात में जी रही हैं. करीब 50 लड़कियों ने पुलिस से शिकायत की है कि रास्ते में कई स्थानीय लड़के उन्हें छेड़ते हैं. लड़कियों का कहना है कि जब तक पुलिस उन्हें सुरक्षा मुहैया नहीं कराएगी तब तक वे स्कूल नहीं जाएंगी.
धनेली और औरंगाबाद गांव की लड़कियों और उनके घरवालों ने पुलिस स्टेशन जाकर अपनी शिकायत दर्ज कराई. लड़कियां दुनका इंटर कॉलेज में पढ़ती हैं. लड़कियों का कहना है कि छेड़खानी करने वाले लड़के आए दिन उनका रास्ता रोकते हैं और अश्लील टिप्पणियां करते हैं. सामूहिक रूप से दर्ज करायी गई एफआईआर के बाद पुलिस ने दो लड़कों को गिरफ्तार किया है.
(दुनिया के कई शहर बुरी तरह बदनाम हो चुके हैं. वहां होने वाले खास अपराधों के चलते सैलानी वहां जाने से पहले कई दफा सोचते हैं. एक नजर इन शहरों पर.)
धनेली की ग्राम प्रधान नौनेश कुमारी के मुताबिक कुछ दिन पहले उनकी दो बेटियों को स्कूल जाते हुए बदसलूकी झेलनी पड़ी. उस घटना के बाद से ही ग्राम प्रधान की बेटियां स्कूल नहीं जा रही हैं. कॉलेज के प्रिसिंपल विनोद कुमार भी बरेली के एसएसपी और अन्य पुलिस अधिकारियों को पत्र लिख चुके हैं.
बरेली के डीआईजी आशुतोष कुमार ने मामले की जांच का वादा करते हुए रास्ते में पुलिस गश्त लगवाने का आश्वासन दिया है. डीआईजी के मुताबिक पुलिस सादे कपड़ों में गश्त लगाएगी.
बुलंदशहर में नेशनल हाईवे पर हुए गैंगरेप के बाद बरेली में भी एक झकझोर देने वाली वारदात हुई. मंगलवार को दिल्ली को लखनऊ से जोड़ने वाले एनएच 24 से एक महिला टीचर को अगवा किया गया. कार में सवार बलात्कारियों ने सड़क पर खड़ी युवती को जबरन कार में खींचा और फिर एक खेत में उससे सामूहिक बलात्कार किया.
बुलंदशहर में हुए गैंगरेप को समाजवादी पार्टी के विवादित नेता आजम खान राजनीतिक साजिश करार दे रहे हैं. वहीं पीड़ित परिवार न्याय न मिलने पर आत्महत्या की चेतावनी दे चुका है. ये सब उस देश में हो रहा है जो खुद को लोकतांत्रिक और कानून सम्मत राष्ट्र कहता है.