मोसुल में खंडहर-पर्यटन
पर्यटकों के लिए मोसुल शहर इराक का नगीना हुआ करता था. फिर युद्ध ने सब बर्बाद कर दिया. अब लोग उस बर्बादी को देखने आ रहे हैं.
खंडहर-पर्यटन
2014 में मोसुल पर इस्लामिक स्टेट ने कब्जा कर लिया था. उसके बाद इराकी फौजों और आतंकवादियों के बीच कई साल लड़ाई चली. 2017 में शहर को मुक्त कराया गया.
लौट रहे हैं पर्यटक
अब हालात ऐसे हुए हैं कि पर्यटक शहर में आने लगे हैं. यहां म्यूजियम और आर्मेनियन चर्च जो युद्ध में पूरी तरह बर्बाद हो गए थे, उनके खंडहर भी लोगों को आकर्षित कर रहे हैं.
कोशिशें की जा रही हैं
शहर प्रशासन ने भी पर्यटकों को आकर्षित करने के लिए कुछ प्रयास शुरू किए हैं जैसे कि मुफ्त टूअर आयोजित कराए जा रहे हैं. ये टूअर अंग्रेजी बोलने वाले स्वयंसेवी आयोजित करते हैं.
मुफ्त परिवहन
पर्यटकों को मुफ्त परिवहन भी उपलब्ध कराया जाता है. घूमने फिरने के बाद उन्हें स्थानीय रेस्तराओं में पारंपरिक भोजन भी चखाया जाता है.
शहर की खातिर
मोसुल हेरिटेज नाम का एक संगठन इस कोशिश में लगा हुआ कि शहर में पर्यटकों को दोबारा लाया जाए. संगठन के अयूब दानौन कहते हैं कि हम कोशिश कर रहे हैं कि देश-विदेश के लोग घूमने हमारे शहर में आएं.
वीजा-मुक्त यात्रा
पर्यटकों को आकर्षित करने के लिए ही इराक ने अब अमेरिका, इंग्लैंड और यूरोपीय संघ के देशों समेत कुल 37 देशों के लिए आने से पहले वीजा लेने की शर्त भी खत्म कर दी है.