1. कंटेंट पर जाएं
  2. मेन्यू पर जाएं
  3. डीडब्ल्यू की अन्य साइट देखें

ग्रीस में आग भड़काने के लिए शरणार्थियों पर शक

२५ अगस्त २०२३

ग्रीस में कुछ शरणार्थियों पर जंगल में आग लगाने के आधारहीन आरोप लगाए जा रहे हैं. इसमें मीडिया का भी अहम रोल है.

https://p.dw.com/p/4VZcH
ग्रीस से आग
एमनेस्टी इंटरनेशनल ने ग्रीस से आग के कारण अवरोस क्षेत्र में फंसे लोगों की सुरक्षित निकासी सुनिश्चित करने की अपील है. तस्वीर: Nicolas Economou/REUTERS

ग्रीस पिछले हफ्ते से जंगल की आग से जूझ रहा है. इस बीच कुछ शरणार्थियों पर आग लगाने के आधारहीन आरोप लगाए जा रहे हैं. इसके चलते इंटरनेट पर उनके प्रति विरोध की भावना जोर पकड़ रही है. इस दौरान, 13 पाकिस्तानी और सीरियाई पुरुषों के एक ग्रुप पर स्थानीय लोगों ने एव्रोस क्षेत्र में अलेक्जेंड्रोपोली शहर के पास आग लगाने का प्रयास करने का आरोप लगाया है. यह शहर तुर्की के साथ सीमा साझा करता है.

एक स्थानीय ने इस घटना का एक वीडियो फेसबुक पर साझा किया है. इसमें वह अप्रवासियों पर स्थानीय समुदाय को जलाने की कोशिश का आरोप लगा है. जिसके बाद उस वीडियो के नीचे शरणर्थियों के लिए नफरत और हिंसा से भरे कमेंट देखे जा सकते हैं.

अधिकारियों ने तुरंत कार्रवाई करते हुए वीडियो बनाने वाले और उसके दो कथित सहयोगियों को भी गिरफ्तार किया है. ग्रीस के अधिकारियों ने कहा कि तीनों पर नस्लवादी हिंसा भड़काने से संबंधित आरोप हैं. वही अप्रवासियों पर अवैध प्रवेश और आगजनी के प्रयास का आरोप लगाया गया है.

शरणार्थियों
ग्रीक अधिकारियों ने जंगल की आग शुरू होने के बाद से आगजनी के सिलसिले में 140 लोगों को गिरफ्तार किया हैतस्वीर: Spyros Bakalis/AFP

भ्रामक रिपोर्टों से बढ़ा शक

एक सरकारी सूत्र के मुताबिक, कैम्प फायर में इस्तेमाल की गई सामग्री के साथ आगजनी के कारण अप्रवासियों पर शक जताया जा रहा है. कुछ मीडिया संस्थानों की भ्रामक रिपोर्टों से भी ये निराधार शक बढ़ा है. जैसे एक न्यूज पोर्टल, अवरोस पोर्टल ने लिखा कि 20 अप्रवासियों ने अलेक्जेंड्रोपोली के पास पुलिस के साथ गोलीबारी की. यह दावा बाद में अधिकारियों ने खारिज किया.

बिजली गिरने से भड़की जंगल की आग ने पूरे उत्तरी ग्रीस में तबाही मचा दी. स्थानीय अस्पताल 14,000 से ज्यादा लोगों को पनाह मिली. 19 अगस्त को शुरू हुई आग 24 अगस्त तक आग 15 किलोमीटर दूर तक पहुंच गई और 60,000 हेक्टेयर से ज्यादा कृषि व वन भूमि को खाक कर गई. प्रभावित क्षेत्र तुर्की सीमा से थोड़ी दूरी पर स्थित है. इस जगह पर तस्करों की मदद से बॉर्डर पार करने वाले अप्रवासियों का अक्सर शोषण भी होता है.

अवरोस के एक निवासी, क्रिस्टोस पास्चालाकिस ने कहा कि वह "पूरी तरह से आश्वस्त" हैं कि आग प्रवासियों की वजह से लगी. उनके मुताबिक, इससे अन्य अप्रवासियों के प्रति भी नकारात्मक छवि बनती है.

जंगल की आग भड़कने से पहले ही बुझाने की तैयारी

अन्य स्थानीय वेंजेलिस रैलिस ने भी आग के लिए अप्रवासी को जिम्मेदार ठहराया. इस भावना को राष्ट्रवादी पार्टी ग्रीक सॉल्यूशन के नेता किरियाकोस वेलोपोलोस ने और बढ़ावा दिया, जिन्होंने अप्रवासियों की हिरासत का समर्थन किया और उन पर आग बुझाने की कोशिशों में बाधा डालने का आरोप भी लगाया.

हालांकि, आग में मरने वाले 20 लोगों में से 19 अप्रवासी माने जा रहे हैं. मामले की जांच जारी है. ग्रीक अधिकारियों ने जंगल की आग शुरू होने के बाद से आगजनी के सिलसिले में 140 लोगों को गिरफ्तार किया है, जिनमें से 73 के खिलाफ आरोप लगाए गए हैं. एमनेस्टी इंटरनेशनल ने ग्रीस से आग के कारण अवरोस क्षेत्र में फंसे लोगों की सुरक्षित निकासी सुनिश्चित करने की अपील है. संस्था ने ग्रीक प्रशासन से देश में अनियमित रूप से प्रवेश करने वाले अप्रवासियों को उचित शरण प्रक्रिया मुहैया कराने की मांग भी की है.

पीवाई/ओएसजे (एफएफपी)